भिलाई। शहर के कोहका स्थित उज्ज्वल मंगल भवन में रविवार को रामायण प्रचार समिति द्वारा विशाल विप्र समागम का आयोजन किया गया। ऐसा पहली बार हुआ जब छत्तीसगढ़ में ब्राह्मण समाज का इतना बढ़ा आयोजन हुआ। आयोजन का उद्देश्य ब्राह्मण समाज की सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक दशा और दिशा पर चिंतन करना था। इस मौके पर राजनीतिक दलों द्वारा की जा रही समाज की उपेक्षा पर रोष व्यक्त किया गया। वक्ताओं ने कहा कि हिंदू समाज को तोड़ने के लिए जातिवाद को उछाला जा रहा है। इन सभी मुद्दों पर समाज के लोगों ने रणनीति बनाकर न केवल ब्राह्मण बल्कि हिंदू एकता पर काम करने का निर्णय लिया।समागम में बड़ी संख्या में ब्राह्मण समाज के युवाओं से लेकर बुजुर्ग शामिल हुए। कार्यक्रम में विभिन्न दलों से जुड़े पदाधिकारी और कार्यकर्ता भी मौजूद रहे। समाज के बुजुर्गों ने कहा कि ब्राह्मण समाज आर्थिक रूप से कमजोर पहले से ही था, लेकिन अब समाज को राजनीतिक रूप से कमजोर करने का प्रयास किया जा रहा है। राजनीतिक दल ब्राह्मणों की लगातार उपेक्षा कर रहे हैं। दुखद ये है कि छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल के पिता नंदकुमार बघेल तो ब्राह्मणों को देश से भगाने की बात कर रहे हैं। इस तरह के बयान न केवल ब्राह्मणों के खिलाफ हैं, बल्कि हिंदू समाज को तोड़ने की साजिश से कम नहीं है। समाज के विकास के लिए जरूरी है कि राजनीतिक रूप से न केवल समाज सक्रिय रहे, बल्कि राजनीतिक दलों द्वारा समुचित सम्मान भी दिया जाए। समापन पर रामायण प्रचार समिति के संयोजक रामउपकार तिवारी ने सभी विप्र बंधुओं का आभार जताया।कांग्रेस ने ब्राह्मण समाज को दरकिनार कर दियाइस आयोजन के राजनीतिक मायने भी निकाले जा रहे हैं। समागम में शामिल होने आए युवाओं के अनुसार कांग्रेस ने ब्राह्मण समाज को दरकिनार कर दिया है। जबिक दुर्ग जिले में ब्राह्मणों के नाम पर भाजपा दो चेहरों प्रेमप्रकाश पांडेय और सरोज पांडेय तक सीमित रही। पार्टी ने दोनों ही परिवारों को काफी मौके दिए, लेकिन दोनों ही गुटों ने समाज के अन्य लोगों को आगे आने का अवसर नहीं दिया। ऐसे में समाज के भीतर ही भाजपा के लिए एक तीसरे विकल्प की तलाश की जा रही है। समाज द्वारा तीसरे विकल्प के रूप में राममिलन दुबे, एलएम पांडेय, रामउपकार तिवारी, प्रमुनाथ मिश्रा, रामाश्रय दुबे को देखा जा रहा है। (TNS)
भिलाई। शहर के कोहका स्थित उज्ज्वल मंगल भवन में रविवार को रामायण प्रचार समिति द्वारा विशाल विप्र समागम का आयोजन किया गया। ऐसा पहली बार हुआ जब छत्तीसगढ़ में ब्राह्मण समाज का इतना बढ़ा आयोजन हुआ। आयोजन का उद्देश्य ब्राह्मण समाज की सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक दशा और दिशा पर चिंतन करना था। इस मौके पर राजनीतिक दलों द्वारा की जा रही समाज की उपेक्षा पर रोष व्यक्त किया गया। वक्ताओं ने कहा कि हिंदू समाज को तोड़ने के लिए जातिवाद को उछाला जा रहा है। इन सभी मुद्दों पर समाज के लोगों ने रणनीति बनाकर न केवल ब्राह्मण बल्कि हिंदू एकता पर काम करने का निर्णय लिया।
समागम में बड़ी संख्या में ब्राह्मण समाज के युवाओं से लेकर बुजुर्ग शामिल हुए। कार्यक्रम में विभिन्न दलों से जुड़े पदाधिकारी और कार्यकर्ता भी मौजूद रहे। समाज के बुजुर्गों ने कहा कि ब्राह्मण समाज आर्थिक रूप से कमजोर पहले से ही था, लेकिन अब समाज को राजनीतिक रूप से कमजोर करने का प्रयास किया जा रहा है। राजनीतिक दल ब्राह्मणों की लगातार उपेक्षा कर रहे हैं। दुखद ये है कि छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल के पिता नंदकुमार बघेल तो ब्राह्मणों को देश से भगाने की बात कर रहे हैं। इस तरह के बयान न केवल ब्राह्मणों के खिलाफ हैं, बल्कि हिंदू समाज को तोड़ने की साजिश से कम नहीं है। समाज के विकास के लिए जरूरी है कि राजनीतिक रूप से न केवल समाज सक्रिय रहे, बल्कि राजनीतिक दलों द्वारा समुचित सम्मान भी दिया जाए। समापन पर रामायण प्रचार समिति के संयोजक रामउपकार तिवारी ने सभी विप्र बंधुओं का आभार जताया।
कांग्रेस ने ब्राह्मण समाज को दरकिनार कर दिया
इस आयोजन के राजनीतिक मायने भी निकाले जा रहे हैं। समागम में शामिल होने आए युवाओं के अनुसार कांग्रेस ने ब्राह्मण समाज को दरकिनार कर दिया है। जबिक दुर्ग जिले में ब्राह्मणों के नाम पर भाजपा दो चेहरों प्रेमप्रकाश पांडेय और सरोज पांडेय तक सीमित रही। पार्टी ने दोनों ही परिवारों को काफी मौके दिए, लेकिन दोनों ही गुटों ने समाज के अन्य लोगों को आगे आने का अवसर नहीं दिया। ऐसे में समाज के भीतर ही भाजपा के लिए एक तीसरे विकल्प की तलाश की जा रही है। समाज द्वारा तीसरे विकल्प के रूप में राममिलन दुबे, एलएम पांडेय, रामउपकार तिवारी, प्रमुनाथ मिश्रा, रामाश्रय दुबे को देखा जा रहा है। (TNS)
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