भूमिपूजन कर जनता को सब्जबाग दिखाकर ठगने वाले जनता को गुमराह करना बंद करे पूर्व मंत्री पांडेय -सूर्यकांत सिन्हा।

भिलाई सूर्यकांत ने कहां की जनता को ठगने वाले, झूठी वाहवाही लूटने वाले, विकास कार्यों में छोटी सोच रखकर दलगत राजनीती करने वाले नेता अब अपने आप को बड़ा पाकसाफ बता रहे हैं। पहले वे खुद अपने बारे में सोचें अपने कार्यकाल में भाजपाई वार्डों में हुए एकतरफा बंदरबाट और कांग्रेसी वार्डों और वहाँ की जनता को झुनझुना पकड़ाया है इसलिए पहले वे देखें कि उन्होंने अपने कार्यकाल में क्या किया है। वोट मांगने लोगों को भरमाते रहे, विकास कार्य के नाम में सिर्फ भूमिपूजन करते रहे। यही नहीं टाउनशिप में एलईडी लाइन लगाने के नाम पर सरकार का लाखों रूपए का भ्रष्टाचार किया जिसका कोई माई-बाप नही है और स्थिति यह कि आज टाउनशिप के वार्डों जगह जगह में सिर्फ अंधेरा छाया रहता है।


यही नहीं जब पूरे शहर में डेंगू महामारी छाई थी। बच्चों सहित कई लोगों की जान चली गई थी पूरे शहर में मातम छाया था। तब पूर्व मंत्री अपने सेक्टर 9 बंगले में एसो आराम से नगर निगम पर आरोप लगाने की राजनीति कर रहे थे। तब उन्हें जनता का दुख नहीं दिखा। आज भी जब कोरोना महामारी का दौर चल रहा है ऐसे में भी मंत्री को कभी फुर्सत नहीं मिली की वे एक दिन भी जनता के सहयोग के लिए अपने बंगले से बाहर निकले और गरीबों की मदद करें।


कोरोना काल में अपने दल के पार्षदों तक को जनता के पास न जाने और घर पर रहने की सलाह देने वाले पूर्व मंत्रीजी का पार्षदों पर बयान देना उनकी गिरती लोकप्रियता और खत्म होती साख को दर्शाता है जिससे वे अपना आपा खो बैठे हैं और इस तरह के बयानबाजी करने को मजबूर हो गए हैं।

ऐसे वोट लोभी, स्वार्थी नेता के अंध भक्त आज उनकी बढ़ाई कर रहे हैं। पर वे भूल रहे हैं कि कोरोनाकाल में पूर्व मंत्रीजी स्वयं लुप्त हैं। जो अन्य भक्त पार्षद अपने नेता की बढ़ाई रहे हैं उसने भी इस कोरोना काल में उनकी कोई मदद नहीं की बल्कि भिलाई के युवा महापौर ने पूरे शहर की जनता को अपना परिवार माना और वे खुद लगातार जुटे रहे। कोरोना से अपने टीम के साथ निरंतर लड़ते रहे। युवा महापौर और विधायक ने एक कोरोना से लड़ाई में एक दिन भी घर पर ना बैठकर लगातार आमजन, अधिकारियों-कर्मचारियों और पार्षदों से संवाद बनाये रखा और तो और कोरोना से जंग के दौरान कोरोना संक्रमित भी हुए। जनता के लिए अपनी जांन तक जोखिम में डाली। लेकिन जनता के आर्शीवाद और प्यार ने उन्हें फिर से स्वस्थ्य कर दिया और वे फिर से कोरोना की जंग जीतने जनता के साथ खड़े है। पार्टी भेदभाव के परे दलगत राजनीति से कोसो दूर केवल भिलाई और भिलाई की जनता के लिए समर्पित होकर नि:स्वार्थ भाव से महापौर ने हर क्षेत्र में संभव सकारात्मक प्रयास किया है  चाहे सभी 70 पार्षदों को पार्षद-निधि की राशि कोराेना वायरस से लड़ने खर्च करने की स्वीकृति शासन से मांग कर लाए,चंदूलाल को 800 बिस्तर का कोविड अस्पताल बनाना हो या फिर शंकराचार्य को संक्रमितों के लिए आरक्षित करवाना हो या फिर बीएसपी से अतिरिक्त वेंटीलेटर की व्यवस्था करने के लिए आदेशित किया, मुख्यमंत्री जी से माँग कर डोनेशन आन व्हील्स की शुरुवात की समाज के सबसे निचले क्रम तक हर जरूरतमंद के लिए राशन व सामग्री जुटाना हो या अन्य मदद की व्यवस्था करना हो महापौर जी सदैव आगे रहे। लेकिन महापौर ने इस बात का कभी बखान नहीं किया।

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